16 साल की दोस्ती टूटी / राहुल-ज्योतिरादित्य संसद में अगल-बगल बैठते थे, एक रंग की जैकेट पहनते थे; मोदी के भाषण के दौरान राहुल ने सिंधिया की तरफ देखकर ही आंख मारी थी
18 दिसंबर 2018: संसद के बाहर मीडिया ने राहुल गांधी से कर्ज माफी को लेकर सवाल पूछा। राहुल गांधी थोड़ी देर ठिठके तो सिंधिया ने उन्हें पीछे से बताया कि क्या बोलना है। सिंधिया ने राहुल ने कहा कि आप बोलिए- हमने वो कर दिखाया जो मोदीजी नहीं कर पाए। किसानों का कर्ज माफ कर दिया गया है।

11 जुलाई 2019: सिंधिया ने कहा कि कांग्रेस संकट में है। हमें इसकी मजबूती के लिए साथ मिलकर काम करना होगा। राहुल गांधी के निर्णय (अध्यक्ष पद छोड़ने के बाद) के बाद फिर एक ऊर्जावान नेता की जरूरत है।

26 फरवरी 2016: ज्योतिरादित्य सिंधिया संसद में रोहित वेमुला की हत्या को लेकर बोल रहे थे। राहुल लगातार ज्योतिरादित्य को ही देख रहे थे। यह वीडियो मीडिया में काफी चर्चित हुआ था।
जनवरी, 2019: राहुल ने कहा- ज्योतिरादित्य सिंधिया बहुत प्रतिभाशाली युवा नेता हैं, वह यूपी में शानदार काम करेंगे।

इस तरह शुरू हुआ दोस्ती का सफर
ज्योतिरादित्य सिंधिया 2001 में कांग्रेस में शामिल हुए। फरवरी 2002 में उन्होंने अपने पिता माधवराव सिंधिया के देहांत के बाद उन्हीं की खाली हुई सीट गुना से लोकसभा का उपचुनाव लड़ा। ज्योतिरादित्य ने 4.50 लाख वोटों से जीत दर्ज की। राहुल 2004 में पहली बार सांसद बने। ज्योतिरादित्य भी 2004 का चुनाव जीतकर संसद पहुंचे। यहीं से दोनों की दोस्ती का दौर शुरू हुआ। 2007 में राहुल गांधी नेशनल यूथ कांग्रेस और नेशनल स्टूडेंट यूनियन ऑफ इंडिया के राष्ट्रीय महासचिव बनाए गए। 2007 में राहुल के कहने पर ज्योतिरादित्य सिंधिया को मनमोहन कैबिनेट में जगह मिली। 2009 के लोकसभा चुनाव में ज्योतिरादित्य सिंधिया राहुल गांधी के साथ स्टार कैंपेनर रहे।